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जिरी
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2022-07-22T12:18:46Z
Janak Bhatta
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[[file:Dolakha Jiri.jpg|thumb|300px|जिरी]]
'''जिरी''' ([[अंग्रेजी भाषा|अंग्रेजी भाय]]:Jiri), [[नेपाः|नेपायागु]] [[जनकपुर अञ्चल|जनकपुर]] अञ्चलयागु [[द्वाल्खा जिल्ला|दोलखा]] जिल्लायागु [[गाँ विकास समिति]] खः। थ्व थासे2107खा छेँ दु।
==भूगोल==
थ्व थाययागु अक्षांश व देशान्तर खः {{coor d|27.63|N|86.23|E|}} ।<ref name="geoloc">{{cite web | accessdate = फेब्रुवरी १६ | accessyear = दं २००७ | url = http://www.fallingrain.com/world/NP/0/Jiri.html | title = Jiri | work = Falling Rain Genomics, Inc}}</ref>थ्व थाय्यागु उचाइ खः २०७५ [[मितर|मिटर]] (६८०७ [[फिट]])।
जिरी नेपालको एक प्रख्यात पर्यटकिय स्थल हो| यसलाइ नेपालको स्विट्जरल्याण्ड पनि भन्ने गरिन्छ|
==जनसंख्या==
==स्रोत==
<references/>
{{जनकपुरयागु थाय्}}
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श्री हनुमान चालीसा
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https://chalisaa.com/hanuman-chalisa/
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text/x-wiki
|| ओम गणपतये नमः ||
।।दोहा।।
श्रीगुरु चरन सरोज रज, निज मनु मुकुरु सुधारि।
बरनऊं रघुबर बिमल जसु, जो दायकु फल चारि।।
बुद्धिहीन तनु जानिके, सुमिरौं पवन-कुमार।
बल बुद्धि बिद्या देहु मोहिं, हरहु कलेस बिकार।।
।।चौपाई।।
जय हनुमान ज्ञान गुन सागर।
जय कपीस तिहुं लोक उजागर।।
रामदूत अतुलित बल धामा।
अंजनि-पुत्र पवनसुत नामा।।
महाबीर बिक्रम बजरंगी।
कुमति निवार सुमति के संगी।।
कंचन बरन बिराज सुबेसा।
कानन कुंडल कुंचित केसा।।
हाथ बज्र औ ध्वजा बिराजै।
कांधे मूंज जनेऊ साजै।।
संकर सुवन केसरीनंदन।
तेज प्रताप महा जग बन्दन।।
विद्यावान गुनी अति चातुर।
राम काज करिबे को आतुर।।
प्रभु चरित्र सुनिबे को रसिया।
राम लखन सीता मन बसिया।।
सूक्ष्म रूप धरि सियहिं दिखावा।
बिकट रूप धरि लंक जरावा।।
भीम रूप धरि असुर संहारे।
रामचंद्र के काज संवारे।।
लाय सजीवन लखन जियाये।
श्रीरघुबीर हरषि उर लाये।।
रघुपति कीन्ही बहुत बड़ाई।
तुम मम प्रिय भरतहि सम भाई।।
सहस बदन तुम्हरो जस गावैं।
अस कहि श्रीपति कंठ लगावैं।।
सनकादिक ब्रह्मादि मुनीसा।
नारद सारद सहित अहीसा।।
जम कुबेर दिगपाल जहां ते।
कबि कोबिद कहि सके कहां ते।।
तुम उपकार सुग्रीवहिं कीन्हा।
राम मिलाय राज पद दीन्हा।।
तुम्हरो मंत्र बिभीषन माना।
लंकेस्वर भए सब जग जाना।।
जुग सहस्र जोजन पर भानू।
लील्यो ताहि मधुर फल जानू।।
प्रभु मुद्रिका मेलि मुख माहीं।
जलधि लांघि गये अचरज नाहीं।।
दुर्गम काज जगत के जेते।
सुगम अनुग्रह तुम्हरे तेते।।
राम दुआरे तुम रखवारे।
होत न आज्ञा बिनु पैसारे।।
सब सुख लहै तुम्हारी सरना।
तुम रक्षक काहू को डर ना।।
आपन तेज सम्हारो आपै।
तीनों लोक हांक तें कांपै।।
भूत पिसाच निकट नहिं आवै।
महाबीर जब नाम सुनावै।।
नासै रोग हरै सब पीरा।
जपत निरंतर हनुमत बीरा।।
संकट तें हनुमान छुड़ावै।
मन क्रम बचन ध्यान जो लावै।।
सब पर राम तपस्वी राजा।
तिन के काज सकल तुम साजा।
और मनोरथ जो कोई लावै।
सोइ अमित जीवन फल पावै।।
चारों जुग परताप तुम्हारा।
है परसिद्ध जगत उजियारा।।
साधु-संत के तुम रखवारे।
असुर निकंदन राम दुलारे।।
अष्ट सिद्धि नौ निधि के दाता।
अस बर दीन जानकी माता।।
राम रसायन तुम्हरे पासा।
सदा रहो रघुपति के दासा।।
तुम्हरे भजन राम को पावै।
जनम-जनम के दुख बिसरावै।।
अन्तकाल रघुबर पुर जाई।
जहां जन्म हरि-भक्त कहाई।।
और देवता चित्त न धरई।
हनुमत सेइ सर्ब सुख करई।।
संकट कटै मिटै सब पीरा।
जो सुमिरै हनुमत बलबीरा।।
जै जै जै हनुमान गोसाईं।
कृपा करहु गुरुदेव की नाईं।।
जो सत बार पाठ कर कोई।
छूटहि बंदि महा सुख होई।।
जो यह पढ़ै हनुमान चालीसा।
होय सिद्धि साखी गौरीसा।।
तुलसीदास सदा हरि चेरा।
कीजै नाथ हृदय मंह डेरा।।
पवन तनय संकट हरन, मंगल मूरति रूप।
राम लखन सीता सहित, हृदय बसहु सुर भूप।।
|| जय श्री राम ||
|| जय जय जय हनुमान ||
हनुमानजीको १२ चमत्कारी नाम
1. [[हनुमान]] हैं (भाचेको हड्डी)
2. अंजनी सूत, (आमा अन्जानीको छोरो)
3. वायुपुत्र, (पवानदेवको छोरा)
4. महाबल, (महाबली, जसले एक हातले पहाडहरू उठाउँछन् र समुद्रमा उफ्रन्छन्)
5. रामेष्ट (राम जी के प्रिय)
6. फाल्गुनसख (अर्जुनको साथी)
7. पिंगाक्ष (खैरो आँखा)
8. अमितविक्रम ( बहादुरी को मूर्ति)
9. उदधिक्रमण (समुद्र को लांघने वाले)
10. सीताशोकविनाशन (सीताको शोकको विनाशकर्ता)
11. लक्ष्मणप्राणदाता (जसले संजीवनी जडिबुटीको साथ लक्ष्मणलाई पुनर्जीवित गर्नुभयो)
12. दशग्रीवदर्पहा (जसले रावणको गर्व नष्ट गर्दछ)
[https://www.imnepal.com/hanuman-chalisa-nepali-hindi-language-text/ हनुमान] जीको नाम लिने फाइदा
मानिसहरूलाई सुत्ने समस्या भएमा मानिसहरू नियमित रूपमा हनुमान चालीसा गर्न सक्दछन्। अर्कोतर्फ, यदि कुनै नराम्रो सपना छन् वा कुनै अज्ञातबाट डर छ भने रातमा सुत्नु अघि हनुमान जीको नाम एकपटक पढ्नुहोस्। यसले मानसिक तनाव हटाउँदछ र सम्पूर्ण दिनको थकान पनि हटाइनेछ। दिनको सुन्दरकाण्ड र [https://www.greplyrics.com/hanuman-chalisa/ हनुमान चालीसा]को पञ्चायतबाट वञ्चित भएकाहरूले पनि रातमा सुत्नु अघि यी नामहरू लिएर हनुमान जीको आशिष् पाउन सक्छन्।
श्री हनुमान जी अक्षय विभीषण कृपा परामर्श अष्ट सिद्धि नव निधि के दाता अस बर दीन जानकी माता हनुमान जी [https://chalisaa.com/hanuman-chalisa/hanuman chalisa lyrics]
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text/x-wiki
|| ओम गणपतये नमः ||
।।दोहा।।
श्रीगुरु चरन सरोज रज, निज मनु मुकुरु सुधारि।
बरनऊं रघुबर बिमल जसु, जो दायकु फल चारि।।
बुद्धिहीन तनु जानिके, सुमिरौं पवन-कुमार।
बल बुद्धि बिद्या देहु मोहिं, हरहु कलेस बिकार।।
।।चौपाई।।
जय हनुमान ज्ञान गुन सागर।
जय कपीस तिहुं लोक उजागर।।
रामदूत अतुलित बल धामा।
अंजनि-पुत्र पवनसुत नामा।।
महाबीर बिक्रम बजरंगी।
कुमति निवार सुमति के संगी।।
कंचन बरन बिराज सुबेसा।
कानन कुंडल कुंचित केसा।।
हाथ बज्र औ ध्वजा बिराजै।
कांधे मूंज जनेऊ साजै।।
संकर सुवन केसरीनंदन।
तेज प्रताप महा जग बन्दन।।
विद्यावान गुनी अति चातुर।
राम काज करिबे को आतुर।।
प्रभु चरित्र सुनिबे को रसिया।
राम लखन सीता मन बसिया।।
सूक्ष्म रूप धरि सियहिं दिखावा।
बिकट रूप धरि लंक जरावा।।
भीम रूप धरि असुर संहारे।
रामचंद्र के काज संवारे।।
लाय सजीवन लखन जियाये।
श्रीरघुबीर हरषि उर लाये।।
रघुपति कीन्ही बहुत बड़ाई।
तुम मम प्रिय भरतहि सम भाई।।
सहस बदन तुम्हरो जस गावैं।
अस कहि श्रीपति कंठ लगावैं।।
सनकादिक ब्रह्मादि मुनीसा।
नारद सारद सहित अहीसा।।
जम कुबेर दिगपाल जहां ते।
कबि कोबिद कहि सके कहां ते।।
तुम उपकार सुग्रीवहिं कीन्हा।
राम मिलाय राज पद दीन्हा।।
तुम्हरो मंत्र बिभीषन माना।
लंकेस्वर भए सब जग जाना।।
जुग सहस्र जोजन पर भानू।
लील्यो ताहि मधुर फल जानू।।
प्रभु मुद्रिका मेलि मुख माहीं।
जलधि लांघि गये अचरज नाहीं।।
दुर्गम काज जगत के जेते।
सुगम अनुग्रह तुम्हरे तेते।।
राम दुआरे तुम रखवारे।
होत न आज्ञा बिनु पैसारे।।
सब सुख लहै तुम्हारी सरना।
तुम रक्षक काहू को डर ना।।
आपन तेज सम्हारो आपै।
तीनों लोक हांक तें कांपै।।
भूत पिसाच निकट नहिं आवै।
महाबीर जब नाम सुनावै।।
नासै रोग हरै सब पीरा।
जपत निरंतर हनुमत बीरा।।
संकट तें हनुमान छुड़ावै।
मन क्रम बचन ध्यान जो लावै।।
सब पर राम तपस्वी राजा।
तिन के काज सकल तुम साजा।
और मनोरथ जो कोई लावै।
सोइ अमित जीवन फल पावै।।
चारों जुग परताप तुम्हारा।
है परसिद्ध जगत उजियारा।।
साधु-संत के तुम रखवारे।
असुर निकंदन राम दुलारे।।
अष्ट सिद्धि नौ निधि के दाता।
अस बर दीन जानकी माता।।
राम रसायन तुम्हरे पासा।
सदा रहो रघुपति के दासा।।
तुम्हरे भजन राम को पावै।
जनम-जनम के दुख बिसरावै।।
अन्तकाल रघुबर पुर जाई।
जहां जन्म हरि-भक्त कहाई।।
और देवता चित्त न धरई।
हनुमत सेइ सर्ब सुख करई।।
संकट कटै मिटै सब पीरा।
जो सुमिरै हनुमत बलबीरा।।
जै जै जै हनुमान गोसाईं।
कृपा करहु गुरुदेव की नाईं।।
जो सत बार पाठ कर कोई।
छूटहि बंदि महा सुख होई।।
जो यह पढ़ै हनुमान चालीसा।
होय सिद्धि साखी गौरीसा।।
तुलसीदास सदा हरि चेरा।
कीजै नाथ हृदय मंह डेरा।।
पवन तनय संकट हरन, मंगल मूरति रूप।
राम लखन सीता सहित, हृदय बसहु सुर भूप।।
|| जय श्री राम ||
|| जय जय जय हनुमान ||
हनुमानजीको १२ चमत्कारी नाम
1. [[हनुमान]] हैं (भाचेको हड्डी)
2. अंजनी सूत, (आमा अन्जानीको छोरो)
3. वायुपुत्र, (पवानदेवको छोरा)
4. महाबल, (महाबली, जसले एक हातले पहाडहरू उठाउँछन् र समुद्रमा उफ्रन्छन्)
5. रामेष्ट (राम जी के प्रिय)
6. फाल्गुनसख (अर्जुनको साथी)
7. पिंगाक्ष (खैरो आँखा)
8. अमितविक्रम ( बहादुरी को मूर्ति)
9. उदधिक्रमण (समुद्र को लांघने वाले)
10. सीताशोकविनाशन (सीताको शोकको विनाशकर्ता)
11. लक्ष्मणप्राणदाता (जसले संजीवनी जडिबुटीको साथ लक्ष्मणलाई पुनर्जीवित गर्नुभयो)
12. दशग्रीवदर्पहा (जसले रावणको गर्व नष्ट गर्दछ)
[https://www.imnepal.com/hanuman-chalisa-nepali-hindi-language-text/ हनुमान] जीको नाम लिने फाइदा
मानिसहरूलाई सुत्ने समस्या भएमा मानिसहरू नियमित रूपमा हनुमान चालीसा गर्न सक्दछन्। अर्कोतर्फ, यदि कुनै नराम्रो सपना छन् वा कुनै अज्ञातबाट डर छ भने रातमा सुत्नु अघि हनुमान जीको नाम एकपटक पढ्नुहोस्। यसले मानसिक तनाव हटाउँदछ र सम्पूर्ण दिनको थकान पनि हटाइनेछ। दिनको सुन्दरकाण्ड र [https://www.greplyrics.com/hanuman-chalisa/ हनुमान चालीसा]को पञ्चायतबाट वञ्चित भएकाहरूले पनि रातमा सुत्नु अघि यी नामहरू लिएर हनुमान जीको आशिष् पाउन सक्छन्।
श्री हनुमान जी अक्षय विभीषण कृपा परामर्श अष्ट सिद्धि नव निधि के दाता अस बर दीन जानकी माता हनुमान जी [https://chalisaa.com/hanuman-chalisa/ hanuman chalisa lyrics]
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